उत्तर प्रदेश में बाढ़ तांडव: Prayagraj और Varanasi में गंगा खतरे के निशान से ऊपर, 60 से अधिक गाँव प्रभावित

उत्तर प्रदेश में मॉनसून का कहर तीव्र होती बारिश और गंगा के खतरे के निशान से ऊपर बहने की वजह से अब आम नागरिकों की जान-माल और जीवनशैली प्रभावित हुई है। विशेषकर प्रयागराज (इलाहाबाद) और वाराणसी में स्थिति चिंताजनक है, जहां बाढ़ का स्तर बढ़ने से हो रही भारी तबाही पर राहत काम तेज कर दिया गया है।
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🌧️ प्रयागराज में बाढ़ की स्थिति
प्रयागराज में Karela Bagh क्षेत्र सहित कई इलाके भारी बारिश की वजह से जलमग्न हो गए हैं। Sasur Khaderi नदी के उफान से सुबह-सुबह कई सड़कें जलमग्न हो गईं। लोग काम पर जाने के लिए नावों में सवार होकर पार हो रहे हैं, जबकि स्थानीय प्रशासन NDRF और SDRF टीमों के जरिये रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटा हुआ है।
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🌊 वाराणसी में गंगा खतरे के स्तर से ऊपर
वाराणसी में गंगा नदी का जलस्तर लगभग 71.75 मीटर तक पहुंच गया, जो खतरे के निशान 71.26 मीटर से आधा मीटर ऊपर है। इस स्थिति में लगभग 1,200 परिवारों के कुल 6,583 लोग विस्थापित हुए, इसमें ज्यादातर लोग 84 गाँवों और शहरों के निवासी शामिल हैं। कुल कृषि भूमि में 327.89 हेक्टेयर की लगातार नमी बनी हुई है।
⚠️ क्लाइमेट फैक्टर – कारण क्या?
इस बार लंबे समय तक बनी हुई मॉनसून सक्रियता, हिमालय से निचले प्रदेशों तक लगातार बारिश, और बढ़ते ग्लेशियल melt की वजह से flash floods की आशंका बनी हुई है। IMD के अनुसार, अगस्त में बारिश सामान्य से 106% के अधिक हो सकती है। इससे समुद्र तटों पर नाडी प्रवाह कमजोर हो गया है और नदी किनारे की मिट्टी क्षरण से बाढ़ का असर बना रहता है।
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🆘 राहत कार्य और सरकारी प्रयास
राज्य सरकार ने 20 राहत शिविर तुरंत चालू कर दिए हैं, जहाँ प्रभावित लोगों को खाना, पानी, दवाइयाँ और बचाव किट मुहैया कराई जा रही है। गंगा किनारे NDRF की टीमों द्वारा निकाले गए लोगों का मेडिकल जांच और प्राथमिक चिकित्सा उपलब्ध कराई जा रही है। वाराणसी के कमिश्नर लाइव इलाके का निरीक्षण कर रहे हैं, और sanitation व camp management सुधारने के आदेश जारी हुए।
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🧠 विशेषज्ञों की राय और भविष्य की तैयारी
रिलीफ अधिकारियों का कहना है कि यह जिस प्रकार चिंताजनक स्तर पर पहुँचा है, उसे देखते हुए आगे भी IMD ने प्रबल बारिश की आशंका जताई है। इसलिए जिलों को इमरजेंसी ड्रिल्स और अगली खतरनाक स्थितियों के लिए तैयार रहना चाहिए। समय रहते पुनर्वास और अस्पताल नेटवर्क को भी मजबूत करना होगा।
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✅ निष्कर्ष
उत्तर प्रदेश में बाढ़ ने एक बार फिर मानव जीवन और कृषि को प्रभावित किया है। Prayagraj और Varanasi जैसे महत्वपूर्ण शहर बाढ़ की चपेट में आए हैं, लेकिन सरकार और एजेंसियों ने तुरन्त राहत कार्य शुरू कर दिए हैं। सावधानी, त्वरित बचाव और मौसम अपडेट पर पूरी नजर रखने की आवश्यकता है।
इस दर्दनाक बाढ़ की तस्वीरें आपकी रूह को झकझोर देंगी।
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✍ लेखक: भारत तक न्यूज़
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